👉भारतीय संविधान (indian Polity)
देश / राज्य = शासन
✱भाग (lesson)-- 22
✱अनुछेद (article)= 395
✱Indian Penal Code 1860 (IPC)
✱Police ,Section / धारा
Code of Criminal Procedure Act 1872 (Crpc)
Section / धारा
भाग (1)The Union and its Territory
( संघ एवं उसका राज्य्क्षेत्र )
⇗अनुच्छेद (1 -4 )
Article(अनुच्छेद)- 1
- भारत राज्यों का एक संघ(Union) है |
- राज्यों का पहली अनुसूची है |
- तीन प्रकार के क्षेत्र होते है |
= संसद ,राष्ट्रपति के पूर्व अनुमति (सुचना) पर किसी विदेशी राज्य को भारत में मिला सकती है |Ex-16 May 1975 सिक्किम 35वा (संशोधन) 1974 सिक्किम सहराज्य (2-a )36 वां (संसोधन)1975सिक्किम 22 वां राज्य बना |
Article / अनुच्छेद -4
= संसद ,राष्ट्रपति के पूर्ण अनुमति से भारत के किसी भी राज्यके नाम,सीमा,क्षेत्र में परिवर्तन कर सकती है |Ex -☆ मध्य प्रदेश छतीसगढ़ से 1 नवंबर 2000 को अलग हुआ था |☆ उतर प्रदेश से उतराखण्ड 9 नवंबर2000 को को अलग हुआ था |☆ बिहार से झारखण्ड 15 नवंबर 2000 को अलग हुआ था |
Madhy Pardesh ➡Chhattisgarh (1 Nov 2000)
Utthar Pardesh ➡ Uttarakhand (9 Nov 2000)
Biahr ➡ Jharkhand (15 Nov 2000)
👆बेरुबाड़ी Union Case 1960 में हुआ था पश्चिम बंगाल के जलपाईगुड़ी जिले के दक्षिणी भाग में एक जगह था जिसका नाम था बेरुबाड़ी ये पूर्वी पाकिस्तान मतलब बांग्लादेश से सटा हुआ था |
Atricle (अनुच्छेद)-4
भाग 1 अनुच्छेद (1 - 4 )
1 - Union (संघ)
2-विदेश राज्य -भारत
3-वर्तमान राज्य - परिवर्तन
4-साधारण बहुमत -राष्ट्रपति बाध्य
⇗अखंड भारत का पहला टुकड़ा
- 1893 =डुरंड लाइन खींची गयी भारत-अफगानिस्तान के बीच
- दूसरा टुकड़ा
- 1935 (वर्मा) भारत से अलग हो गया
- 1947 पाकिस्तान अलग हो गया
India
- 552
- सरदार पटेल
- V .P मेनन I.A.S
- माउंट बेटन
1-हैदराबाद =Operation Polo (Police)2-जूनागढ़ = जनमत संग्रह3-जम्मू और कश्मीर = Accession sing. करके मिलाया गया26 oct -1947 विलय पत्र हरी -सिद्ध
भारत 1951
A -British Province (अंग्रजो का शासन)B - Princly (देशी रियाशत)C - कमिशनरी 10 Ex-अजमेरD -UT केन्द्रशसित प्रदेशS.K धार आयोग (1948)
J V P समिति 1948 भाषायी राज्यों का विरोध =पेट्टू श्री रामलु (56 Day ) मौत=1952
1 oct 1953 (आंध्रप्रदेश)
👉 भाषायी आधार पर पहला गठित होनेवाला आयोग कौन था ?
🍂 S.K धार आयोग 1948 |
👉भाषायी आधार पर पहला गठित होनेवाला राज्य कौन - सा था ?
🍂 आन्ध्रप्रदेश |
फजल अली आयोग
सदस्य =3
गठन =1953
Report =1956
- राज्यों का गठन भाषा के आधार पर
- किन्तु एक राज्य एक भाषा नहीं
1956
7वां संसोधन (1956)
State -14
Ut-8
पटियाला एंड ईस्ट पंजाब स्टेट यूनियन (PEPSU)
=1966 शाह आयोग
- हिमालय - हिमाचल प्रदेश
- हिंदी - हरियाणा
- पंजाबी-पंजाब
- UT - चण्डीगढ
State -28
Ut -8
Evolution of Indian Constitution Part 2
- Person
- Citigen
- Minority
अनुच्छेद (5)⇒संविधान प्रारम्भ में नागरिकता (26 Jan 1950)
उसका जन्म भारत में हो |
उसके माता पिता का जन्म भी भारत में हो |
संविधान लागू (26 Jan 1950 ) से पहले भारत में रहता हो |
नागरिकता अधिनियम (1955) 1986,1992,2003,2005
- जन्म के आधार पर (1986में माता-पिता)
- किसी को भी( 2003 में दोनों Valid )
- वंश के आधार पर (1992 माता-पिता )
- पिता पंजीकरण (विवाद 7 Year) देशीकरण (Naturalestion )
- 👉कला,विज्ञान
- भारतीय भाषा 10 Year
- अजित भूमि -सिक्किम --समापन त्याग वर्खास्त वंचित
- देश - ब्रिटेन NRI CAA
- प्रकार - एकहरी PIO NRC
- अधिनियम -1955 OCI NPP
- 1st संसोधन -1986
- प्राप्ति की विधि -5
- मंत्रायलय -गृह
नागरिकता अधिनियम (1955) में 1986, 1992, 2003 और 2005 के संशोधन: एक विस्तृत विश्लेषण
भारतीय नागरिकता अधिनियम, 1955 भारत में नागरिकता प्राप्त करने के लिए नियमों और प्रक्रियाओं को निर्धारित करता है।
1986 का संशोधन:
- इस संशोधन ने पाकिस्तान से भारत आए कुछ व्यक्तियों को भारतीय नागरिकता प्रदान करने का प्रावधान किया, जिन्हें "पाकिस्तानी नागरिक" घोषित नहीं किया गया था।
- इसने विदेशी मूल के व्यक्तियों को जन्म से भारतीय नागरिकता प्राप्त करने का अधिकार भी दिया, यदि उनके माता-पिता या दादा-दादी भारत में पैदा हुए थे।
1992 का संशोधन:
- इस संशोधन ने बांग्लादेश से भारत आए कुछ व्यक्तियों को भारतीय नागरिकता प्रदान करने का प्रावधान किया, जिन्हें "बांग्लादेशी नागरिक" घोषित नहीं किया गया था।
- इसने विदेशी मूल के व्यक्तियों को वंशावली के आधार पर भारतीय नागरिकता प्राप्त करने का अधिकार भी दिया, यदि वे 1 दिसंबर 1946 से पहले भारत में रह रहे थे।
2003 का संशोधन:
- इस संशोधन ने "व्यक्तियों के एक विशिष्ट वर्ग" को भारतीय नागरिकता प्रदान करने का प्रावधान किया, जिन्हें "अवैध प्रवासियों" के रूप में वर्गीकृत किया गया था।
- इसने विदेशी मूल के व्यक्तियों को जन्म से भारतीय नागरिकता प्राप्त करने का अधिकार भी दिया, यदि उनके माता-पिता या दादा-दादी भारत में 1 जुलाई 1987 से पहले पैदा हुए थे।
2005 का संशोधन:
- इस संशोधन ने "व्यक्तियों के एक विशिष्ट वर्ग" को भारतीय नागरिकता प्रदान करने की प्रक्रिया को सरल बनाया।
- इसने विदेशी मूल के व्यक्तियों को जन्म से भारतीय नागरिकता प्राप्त करने का अधिकार भी दिया, यदि उनके माता-पिता या दादा-दादी भारत में 15 अगस्त 1947 से पहले पैदा हुए थे।
निष्कर्ष:
नागरिकता अधिनियम (1955) में 1986, 1992, 2003 और 2005 के संशोधनों ने भारत में नागरिकता प्राप्त करने के नियमों और प्रक्रियाओं में महत्वपूर्ण बदलाव किए हैं। इन संशोधनों का उद्देश्य भारत में रहने वाले कुछ विदेशी मूल के व्यक्तियों को नागरिकता प्रदान करना और नागरिकता प्राप्त करने की प्रक्रिया को सरल बनाना था।
1 टिप्पणियाँ
Good Job
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